चंडीगढ़, 7 सितम्बर 2021
सरकार के शिक्षा मंत्रालय (एमओइ) की एक स्वायत्त संस्था नेशनल इंस्टीच्यूट ऑफ टैक्निकल टीचर्ज ट्रेनिंग एंड रिसर्च (एन.आई.टी.टी.टी.आर.), चण्डीगढ़ ने 7 सितम्बर, 2021 को अपना 54वां सालाना दिवस मनाया। यह संस्था साल 1967 में स्थापित की गई थी।
इस शुभ मौके पर भारत सरकार के शिक्षा मंत्री (एमओइ), श्री धर्मेंद्र प्रधान ने एआर /वीआर लैब का उद्घाटन किया। इसके साथ ही फेकल्टी के लिए रिहायशी इमारत का नींव पत्थर रखा और इस मौके पर सभी को संबोधन भी किया। मंत्री ने अपने उद्घाटनी भाषण के दौरान फेकल्टी, स्टाफ, विद्यार्थियों और संस्था की महामारी के मुश्किल समय के दौरान भी उच्च तकनीकी शिक्षा प्रणाली के प्रति कीमती योगदान के लिए प्रशंसा की। उन्होंने डिजिटल मिशन, उन्नत भारत, आत्म निर्भर भारत, स्वच्छ भारत में परिवर्तनशील योगदान के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) के प्रभावी और समय पर लागूकरण के लिए फेकल्टी को उनके सहयोग और योगदान के लिए भी अपील की। मंत्री के संबोधन के दौरान भारत को विश्व गुरू बनाने के बारे विचार स्पष्ट हैं।
एन.आई.टी.टी.टी.आर. चण्डीगढ़ के डायरैक्टर प्रोफ़ैसर श्याम सुंदर पटनायक ने साल 2020 -21 की सालाना रिपोर्ट पेश करते हुए टीम के तौर पर मिलकर काम करने, मिलकर लक्ष्य हासिल करने और जीत हासिल करने सम्बन्धी अपने काम करने के फलसफे को दोहराया।
संस्था ने 74,337 तकनीकी फैक्लटीज़ को प्रशिक्षण दिया, 7 करोड़ आईआरजी तैयार किये, 55 पाठयक्रम वर्कशापें आयोजित करवाई, 269 खोज प्रकाशन प्रकाशित किये (215 अंतरराष्ट्रीय रसालों में, 54 कान्फ़्रेंसों में), 49 खोज प्रोजैक्ट पेश किये, 10 विद्यार्थी को पीएचडी डिग्री दी, 4 पेटैंट दाखि़ल किये और बहुत कुछ और किया जिसकी महामारी के समय दौरान कल्पना नहीं की जा सकती थी। प्रोफ़ैसर पटनायक ने इस प्राप्ति को ईमानदारी, टीम वर्क और फेकल्टी स्टाफ और विद्यार्थियों की वचनबद्धता को समर्पित किया। उन्होंने बताया कि इंस्टीट्यूट यूनिवर्सिटी का दर्जा (डी नोवो श्रेणी) हासिल करने की कगार पर है। सालाना रिपोर्ट में दर्ज किये गए शानदार योगदानों से स्पष्ट तौर पर यह ज़ाहिर हो गया है कि यदि संस्था को यूनिवर्सिटी का दर्जा दिया जाता है तो वह देश के प्रसिद्ध उच्च-शैक्षिक अदारों में से एक होगी जो अध्यापकों के प्रशिक्षण में सालों के राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय क्षेत्रों के अपने 54 तजुर्बो के साथ एक अमिट छाप छोड़ेगी।
विशेष मेहमान आईआईटी रोपड़ के प्रो. राजीव अहूजा, गेस्ट आफ आनर डा. अश्वनी जौहर, इंडिया-रुस बायलेटरल कौंसिल नीति आयोग के मैंबर, एनबीए के मैंबर सचिव ए.के नासा ने अपना संबोधन करते हुए कर्मचारियों को उनकी शानदार कारगुज़ारी के लिए बधाई दी और आशा अभिव्यक्त की कि एमओइ की मौजूदगी संस्था के कर्मचारियों को उत्साहित और प्रेरित करने के लिए एक अहम कारक के तौर पर काम करेगी, जिसमें सहृदय योगदान और बहुत मज़बूत कार्य सभ्याचार शामिल है।
सालाना समारोह के दौरान, संस्था ने सर्वोत्त्म प्रदर्शन करने वाले कर्मचारियों, होनहार विद्यार्थियों, सर्वोत्त्म प्रदर्शन करने वाले पोलिटेक्निक्स और इंजीनियरिंग कालेजों और डिजिटल पोस्टर मुकाबले के विजेताओं को सम्मानित किया।