मुख्यमंत्री स्पष्ट करें कि क्या उनके कहने पर यह बयान दिया गया है यां तृप्त बाजवा के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करें: सरदार सिकंदर सिंह मलूका

तृप्त बाजवा  द्वारा किसानों को सबसे ज्यादा  वायरस फैलाने वालों के तौर पर प्रचार कर लोगों का ध्यान कांग्रेस सरकार की नाकामियों से ध्यान हटाने का प्रयास करना निंदनीय  शिरोमणी अकाली दल

कहा कि पंजाब कांग्रेस पंजाबियों को बताए कि क्या यह केंद्र के इशारे पर किसान आंदोलन को विफल करने की साजिश हिस्सा है

 चंडीगढ़/21मई, 2021:शिरोमणी अकाली दल ने आज ग्रामीण विकास मंत्री तृप्त राजिंदर सिंह बाजवा की निंदा करते हुए कहा है कि किसान आंदोलन में लगे किसानों को वायरस फैलाने वालों के रूप में चित्रित कर ,पंजाब कांग्रेस द्वारा अपनी विफलता से ध्यान हटाने की कोशिश करना निंदनीय है। सरकार को ‘अन्नदाता’ को बदनाम करने के बजाय अपनी विफलताओं के लिए जवाब देना चाहिए।

यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए शिरोमणी अकाली दल किसान विंग के अध्यक्ष सिकंदर सिंह मलूका ने कहा कि यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि जब पंजाब कांग्रेस सरकार की नाकामियों के कारण  कोविड महामारी की चपेट में है , कांग्रेस सरकार द्वारा दिल्ली के पास सिंघू और टिकरी बार्डर पर तीनों खेती कानूनों के खिलाफ ‘धरनों’ में भाग लेने वाले किसानों को वायरस फैलाने वालों के रूप में प्रचार करना घोर निंदनीय है।

इस बात पर जोर देते हुए कि यह बात सच्चाई से दूर है कि ‘ सरकार ने स्थिति की गंभीरता का पता लगाने, सरकारी अस्पतालों में दवाईयां, आॅक्सीजन और सही इलाज प्रदान करने में विफलता के कारण ही  स्थिति हाथ से निकल गई है’। उन्होने कहा कि किसान सात महीने से अधिक समय से सिंघू और टिकरी बार्डर पर आंदोलन कर रहे थे। ‘ अब उन पर ऐसे आरोप क्यों लगाए जा रहे हैं’। पंजाब कांग्रेस को पंजाबियों को बताना होगा कि क्या केंद्र सरकार के कहने पर यह किसान आंदोलन  को नाकाम करने की साजिश का हिस्सा है। हम कैप्टन अमरिंदर सिंह से मांग करते हैं कि अगर मंत्री ने जो बयान दिया है , स्पष्ट करें कि ‘क्या वह उनके इशारे पर किया गया है यां तृप्त बाजवा के खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जानी चाहिए।

 इस बात पर जोर देते हुए सरदार मलूका ने कहा कि शिरोमणी अकाली दल ने इन साजिशों को किसी भी कीमत पर सफल नही होने देगा। ‘ हम आने वाले दिनों में कांग्रेस सरकार और उनकी विफलताओं को जनता के सामने बेनकाब करेंगे। हम यह भी मांग करते हैं सरकार गांवों में कोविड -19 महामारी को रोकने के लिए चिकित्सा उपलब्ध कराने के लिए ठोस कार्रवाई करे। ‘ सरकार अपने लोगों के प्रति जिम्मेदारी से स्वयं को मुक्त नही कर सकती। लोग गांवों में दवाएं चाहते हैं । वे अपने घरों के करीब मेडिकल सुविधाएं, वेंटिलेटर और आईसीयू चाहते हैं। वे मालवा बैल्ट में फैलने वाली ब्लैक फंगस बीमारी के खिलाफ कार्रवाई चाहते हैं। इन मुददों से निपटने के साथ साथ छोटे किसानों और भूमिहीन मजदूरों के लिए आर्थिक पैकेज जारी करने के बजाय सरकार उन्हे खलनायक के रूप में चित्रित करने में लगी हुई है।

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