प्रदेश सरकार का फसल अवशेष प्रबंधन पर विशेष ध्यान

JP DALAL
किसान की बीज से बाजार तक की जिम्मेदारी वहन कर रही है सरकार- जेपी दलाल

6755 कस्टम हॉयरिंग सेंटरों में उपलब्ध करवाए हैं 31446 कृषि यंत्र
सब्सिडी के रूप में किसानों को वर्ष 2020-21 में 14 करोड़ रुपये तथा वर्ष 2021-22 में 25 करोड़ रुपये दिए: जे.पी.दलाल


चंडीगढ़, 24 जनवरी – हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्री जे.पी.दलाल ने कहा कि केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा समय-समय पर किसानों को विभिन्न प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध करवाने के फलस्वरूप प्रदेश में न केवल खाद्यान्नों का रिकार्ड उत्पादन हो रहा है बल्कि पर्यावरण संतुलन बनाए रखने में भी किसान आगे आ रहे हैं और फसल अवशेष प्रबन्ध योजना के तहत निरंतर सब्सिडी का लाभ लेकर कृषि उपकरण खरीद रहे हैं।
कृषि मंत्री ने आज इस सम्बंध में और जानकारी देते हुए बताया कि किसानों को कृषि से सम्बंधित यंत्र पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष अधिक उपलब्ध करवाए गए हैं । वर्ष 2021-22 के दौरान अब तक 19052 कृषि यंत्र अनुदान पर उपलब्ध करवाए जा चुके हैं, जबकि वर्ष 2018-19 में 10627 यंत्र, वर्ष 2019-20 में 14078 यंत्र तथा वर्ष 2020-21 में 15350 यंत्र उपलब्ध करवाए गए थे।  श्री दलाल ने बताया कि फसल अवशेष प्रबंधन योजना के तहत कस्टम हायरिंग सेंटर के लिए 80 प्रतिशत तथा व्यक्तिगत किसान को 50 प्रतिशत अनुदान की राशि उपलब्ध करवाई जाती है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में प्रदेश में 6755 कस्टम हायरिंग सेंटर चल रहे हैं, जिनमें फसल अवशेष प्रबंधन के 31446 कृषि यंत्र उपलब्ध हैं। उन्होंने बताया कि किसानों को फसल अवशेषों की गांठ बनाने के लिए 1000 रुपये प्रति एकड़ अनुदान राशि भी दी जाती है।
कृषि मंत्री ने बताया कि सरकार की प्रतिबद्धता के फलस्वरूप किसानों को कृषि यंत्रों की उपलब्धता के लिए वर्ष 2020-21 में 14 करोड़ रुपये तथा वर्ष 2021-22 में 25 करोड़ रुपये की राशि प्रदान की गई, जिसका नतीजा यह रहा कि वर्ष 2020 की तुलना में वर्ष 2021 में 30 प्रतिशत फसल अवशेष प्रबंधन अधिक देखने को मिले। किसानों ने खेतों में पराली जलानी बंद की है और विभाग की योजनाओं का लाभ उठाने के लिए आगे आ रहे हैं।

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