स्वतंत्रता सेनानी एवं आजाद हिंद फौज के सिपाही ललती राम पंचतत्व में विलीन

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प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल सहित अन्य नेतागण ने ट्वीट कर जताया शोक
जिला प्रशासन ने कोविड प्रोटोकॉल के तहत किया अंतिम संस्कार
झज्जर, 09 मई,2021
झज्जर जिला के गांव दूबलधन निवासी आजाद हिंद फौज के सिपाही स्वतंत्रता सेनानी समिति के चेयरमैन रहे ललती राम का रविवार को निगधन हो गया। करीब 100 वर्षीय स्वतंत्रता सेनानी ने अल-सुबह अंतिम सांस ली। गांव दूबलधन में जिला प्रशासन के प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी में स्व.ललती राम को कोविड प्रोटोकॉल के तहत अंतिम विदाई दी गई। स्वतंत्रता सेनानी स्व.ललती राम के निधन पर देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल, भाजपा प्रदेशाध्यक्ष श्री ओमप्रकाश धनखड़ ने ट्वीट करते हुए वीर सिपाही को सलाम किया और शोक जताया। मुख्यमंत्री ने ट्वीट करते हुए कहा कि ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति व इस दुख की घड़ी में शोकाकुल परिवार को संबल प्रदान करे।
गौरतलब है कि नेता जी सुभाष चंद्र बोस की सेना में सिपाही रहे स्वतंत्रता सेनानी ललती राम का जन्म 01 जनवरी 1921 को दूबलधन गांव में हुआ। जीवन काल में अलग-अलग समय में राष्ट्रपति सहित अन्य महान शख्सियतों ने भी ललती राम को सम्मानित कर उनका मान बढ़ाया। आजाद हिंद फौज की स्थापना की 75वीं वर्षगांठ के मौके पर हुए मुख्य कार्यक्रम में उन्होंने प्रधानमंत्री के साथ मंच सांझा भी किया था। ललती राम हरियाणा स्वतंत्रता सेनानी समिति के चेयरमेन भी रहे। सिंगापुर और हांगकांग की जेल में भी रहे दूबलधन गांव निवासी आजाद हिंद फौज के वीर सिपाही ललती राम, को आइएनए में रहते हुए बहादुरी के लिए 3 मेडल मिले थे। वे अंबाला, सिंगापुर, हांगकांग, थाईलैंड, जापान, कोलकाता (जगरकचा) जेल में भी रहे। ललती राम के परिवार से पांच बेटे पिता के नक्शे कदम पर चलते हुए देश सेवा की भावना से ओतप्रोत होकर सेना में भर्ती हुए। बाद की पीढ़ी की बात हो तो 9 पौत्रों में से 5 पौत्र फौज में है तथा एक पौत्री पुलिस में है।
रविवार को गांव दूबलधन में कोविड प्रोटोकॉल के तहत बीडीपीओ बेरी श्री रामकरण शर्मा व डीएसपी श्री राहुल देव ने राजकीय सम्मान के साथ उनको अंतिम विदाई दी।

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