राज्य सरकार प्रदेश के सुनियोजित विकास के लिए प्रतिबद्ध :- मुख्यमंत्री

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जयपुर, 20 मई । मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत ने कहा कि राजस्थान जैसा गौरवशाली आर्किटेक्चर पूरी दुनिया में कहीं नहीं है। यहां पुराने समय में एक से बढ़कर एक अद्भुत कार्यों ने अपनी अलग पहचान बनाई है। हमारे पुराने शहर वास्तुकला के बेजोड़ उदाहरण हैं। उन्होंने कहा कि हर सरकार को योजनाबद्ध तरीके से आने वाली पीढ़ियों के लिए मास्टर प्लान बनाकर नगरीय विकास करना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सुनियोजित विकास के लिए राज्य सरकार आर्किटेक्ट्स के साथ चर्चा करेगी।

श्री गहलोत शुक्रवार को जवाहर लाल नेहरू मार्ग स्थित होटल क्लार्क्स आमेर में इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ आर्किटेक्ट्स के राजस्थान चेप्टर की ओर से आयोजित ‘राजस्थान आर्किटेक्चर फेस्टिवल‘ का उद्घाटन कर समारोह को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश के सुनियोजित विकास के लिए प्रतिबद्ध है। यहां का प्रशासन प्राथमिकता के साथ आर्किटेक्ट्स के सहयोग में खड़ा है। उन्होंने कहा कि वर्तमान सरकार हर गांव का मास्टर प्लान बनाने के प्रयास कर रही है। वहां विद्यालयों, महाविद्यालयों, उद्यानों तथा चिकित्सालयों सहित अन्य आवश्यकताओं के लिए भी जगह चिंहित की जा रही है। मास्टर प्लान के अनुरूप ही विकास कार्य हो रहे हैं।

श्री गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा शहरों को आगामी 20-25 वर्षों की आवष्यकता के अनुरूप नियोजित करने के लिए वास्तुविदों और नगर नियोजकांे का पैनल तैयार किया गया है। राजस्थान ऐसा राज्य है जिसने सभी नगरों के मास्टर प्लान और राज्य के लिए आधुनिक बिल्डिंग बाय-लॉज तैयार किए हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गांधी ने वर्ष 1972 में संसद से वास्तुविद् अधिनियम पारित कराकर और पूर्व प्रधानमंत्री श्री राजीव गांधी ने प्रसिद्ध वास्तुविद् और नगर नियोजक चार्ल्स कोरिया को महत्व देकर देश के नगरीय विकास की मजबूत नींव रखी थी। जयपुर में कला एवं संस्कृति को आमजन तक पहुंचाने के लिए जवाहर कला केंद्र भवन का डिजाइन कार्य भी चार्ल्स कोरिया ने ही किया था। फेस्टिवल में मुख्यमंत्री ने प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।

समारोह में स्वायत्त शासन एवं नगरीय विकास मंत्री श्री शान्ती कुमार धारीवाल ने कहा कि राज्य सरकार के प्रयासों से ही जयपुर परकोटा यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल हुआ है। नगर नियोजन और परम्परागत कला का संरक्षण राज्य सरकार की प्राथमिकता है।

समारोह में इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ आर्किटेक्ट्स के अध्यक्ष श्री सी.आर. राजू, राजस्थान चेप्टर के अध्यक्ष श्री तुषार सोगानी, द आर्किटेक्ट्स रीजनल काउंसिल एशिया के अध्यक्ष अबू सईद अहमद और काउंसिल ऑफ आर्किटेक्चर के अध्यक्ष श्री हबीब खान सहित 22 से अधिक देशों के आर्किटेक्ट्स शामिल हुए।

 

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